सऊदी अरब इन दिनों अपनी चरमराती हुई अर्थव्यवस्था के लिए सुर्ख़ियों में हैं. खराब होती जार रही सऊदी की अर्थव्यस्था के लिए यहां के क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान को जिम्मेदार ठहराया जा रहा है.
 
 
इसी बीच सामने आई एक रिपोर्ट में कहा गया है कि सऊदी के किंग सलमान अपने बेटे बिन सलमान से ‘क्राउन प्रिंस’ के पद का पद छीनना चाहते हैं. इस बात का जिक्र स्पेनिश समाचार पत्र पब्लिको की एक रिपोर्ट में किया गया है. अगर बिन सलमान को “क्राउन प्रिंस” के पद से हटा देते हैं ये उनके लिए किसी बड़े झटके से कम नहीं होगा.

जानकारों का कहना है कि किंग और उनके बेटे के बीच संघर्ष के परिणामस्वरूप विभिन्न राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय मुद्दों के दृष्टिकोण में अंतर आया है. इन दिनों सऊदी को लेकर किंग सलमान और बिन सलमान के विचार मेल नहीं खा रहे है. समाचार पत्र पब्लिको को सूचना दी गई है कि इजरायल-फिलिस्तीन मुद्दे पर उनके बीच सबसे बड़ा अंतर है.

क्राउन प्रिंस ने इज़राइल के साथ पक्षपात किया है, लेकिन जुलाई में, किंग सलमान ने सार्वजनिक रूप से फिलीस्तीनियों का बचाव किया है जिससे उनके बीच गड़बड़ी हो रही है. बिन सलमान अक्सर फिलिस्तीन विरोधी और इजराइल समर्थक ब्यान देते है जबकि किंग सलमान फिलिस्तीन का समर्थन करने वाले बयान देते है.

इस हफ्ते की शुरुआत में, किंग सलमान ने सऊदी अरब की अर्थव्यवस्था के लिए महत्वपूर्ण राज्य की स्वामित्व वाली तेल कंपनी अरामको के पांच प्रतिशत की बिक्री रद्द कर दी थी. मोहम्मद बिन सलमान की ‘विजन 2030’ योजना की प्रमुख महत्वाकांक्षा अरामको की बिक्री थी.
 
 
उनकी परियोजना तेल पर आर्थिक निर्भरता मुक्त करना और निजी व्यवसायों के लिए अरामको का प्रतिशत बेचकर शुरू करने के लिए प्रतिस्पर्धी अर्थव्यवस्था बनाना था. किंग सलमान ने इसे रद्द कर करके बिन सलमान एक बहुत बड़ा झटका दे दिया था. कहा जा रहा है कि क्राउन प्रिंस से किंग ही नहीं बल्कि कई और अधिकारी और उच्च पदों पर बैठे लोग भी नाराज हैं. इन सब बातों पर भी सऊदी किंग की नजर हैं.
 
ऐसी उम्मीद की जा रही है कि निकट भविष्य में सऊदी किंग अपने बेटे के खिलाफ कोई सख्त कदम उठा सकते हैं.

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