Amit Shah and Nitish Kumar to Meet in Patna
After the breakup of the alliance in Patna, Amit Shah and Nitish Kumar will be sitting together on a stage for the first time on Sunday and will discuss various issues. This meeting between the two leaders is considered extremely important. In fact, an important meeting of the Eastern Regional Council was held in Patna on Sunday, which will be chaired by Union Home Minister Amit Shah.
Significance of the Meeting
Bihar Chief Minister Nitish Kumar is also participating in this meeting. The Chief Ministers of Bengal, Odisha, and Jharkhand were also supposed to be present in the meeting but they are not attending. Instead, the Finance Ministers and representatives of these states will be present. It is evident that the meeting is important for those states which are participating, but all eyes are on Bihar because when Amit Shah and Nitish Kumar come face to face in the changed political circumstances, all attention will be on them.
Issues to be Discussed
Bihar’s Water Resources Minister, Sanjay Jha, who will be attending this meeting with Nitish Kumar, Deputy Chief Minister Tejashwi Yadav, and Finance Minister Vijay Chaudhary, states that the meeting is very important and many important issues related to Bihar will be raised. The issue of giving special status to Bihar, which Nitish Ji has always raised, will be discussed. If any positive discussion takes place on this issue, it will be very important for Bihar. Another important issue is the demand for the construction of a high dam in Nepal, which Bihar has been raising for a long time. When a high dam is built in Nepal, it will provide relief from floods in many districts of Bihar. We will also raise this issue. Along with these issues, attention will also be on the body language and interaction between Amit Shah and Nitish Kumar.
गठबंधन टूटने के बाद पटना में रविवार को पहली बार अमित शाह और नीतीश कुमार एक साथ एक मंच पर बैठेंगे और कई मुद्दों पर बात करेंगे। इस मुलाकात को बेहद महत्वपूर्ण माना जा रहा है। दरअसल रविवार को पटना में पूर्वी क्षेत्रीय परिषद की महत्वपूर्ण बैठक आयोजित की गई है, जिसकी अध्यक्षता केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह करेंगे। इसी बैठक में नीतीश कुमार भी शामिल हो रहे हैं। बैठक में बंगाल, उड़ीसा और झारखंड के मुख्यमंत्रियों को भी शामिल होना था लेकिन वो बैठक में नहीं शामिल हो रहे हैं। उनकी जगह उन राज्यों के वित्त मंत्री और प्रतिनिधि मंडल शामिल हो रहा है। जाहिर है बैठक तो उन राज्यों के लिए महत्वपूर्ण है ही जो शामिल हो रहे हैं लेकिन सबसे ज़्यादा निगाहें बिहार की टिकी हुई क्योंकि अमित शाह और नीतीश कुमार जब बदली हुई राजनीतिक परिस्थितियों में आमने-सामने होंगे तो नजरें दोनों पर ही टिकी हुई रहेंगी। बिहार के जल संसाधन मंत्री संजय झा ने बताया कि बैठक बेहद महत्वपूर्ण है और बैठक में बिहार से भी कई महत्वपूर्ण मुद्दे उठेंगे। बिहार के लिए जो दो तीन महत्वपूर्ण मुद्दे हैं जैसे बिहार को विशेष राज्य का दर्जा का मुद्दा, जिसकी बात नीतीश जी हमेशा उठाते रहे है वो उठेगा ही। दूसरा महत्वपूर्ण मुद्दा नेपाल में हाई डैम बनाने की मांग का है जिसकी मांग भी बिहार लंबे समय से कर रहा है। नेपाल में हाई डैम बनता है तब बिहार के कई जिलों में बाढ़ से राहत मिलेगी। इस मुद्दे को भी हम उठाने वाले हैं। इसके अलावा भी बिहार के हित के लिए जो मुद्दे होंगे वो उठाए जाएंगे। बहरहाल इन तमाम मुद्दों के साथ-साथ नजरें अमित शाह और नीतीश कुमार के बॉडी लैंग्वेज पर भी होंगी कि दोनों नेताओं के बीच मुलाकात किस तरीके का और कैसा रहता है। बीजेपी और जेडीयू के गठबंधन टूटने के बाद बीजेपी नीतीश कुमार से बेहद नाराज थी, जिसकी नाराजगी को इसी से समझा जा सकता है कि जब गृह मंत्री अमित शाह बिहार दौरे पर आए थे, तब उन्होंने सार्वजनिक मंच से एलान किया था कि अब बीजेपी का दरवाजा नीतीश कुमार के लिए हमेशा के लिए बंद हो गया है। तब से लेकर अभी तक इन दोनों नेताओं की मुलाकात नहीं हो पाई थी।