आज मंगलवार को बिहार में जाति आधारित जनगणना में शामिल होने वाले दलों के नेताओं के साथ एक सर्वदलीय बैठक होने वाली है। इस बैठक की अध्यक्षता मुख्यमंत्री नीतीश कुमार करेंगे और उनका उद्घाटन भाषण भी होगा। इस बैठक में जाति जनगणना के रिपोर्ट पर चर्चा की जाएगी और मुख्यमंत्री दलों से इस बारे में बात करेंगे। भाजपा इस बैठक के दौरान सरकार को घेरने की तैयारी में है।
बिहार में जाति आधारित सर्वे की रिपोर्ट जारी होने के बाद राजनीतिक सियासत में गरमाहट बढ़ गई है। इस रिपोर्ट के अनुसार प्रदेश में पिछड़े वर्ग की भागीदारी 36.0148% बताई गई है, जबकि पिछड़ा वर्ग 27.1286% बताया गया है। इस रिपोर्ट के बाद जातियों की संख्या सामने आई है और इसके बाद मामला सुप्रीम कोर्ट में जाया है। याचिकाकर्ताओं ने सुप्रीम कोर्ट में इस रिपोर्ट के विरोध में अपनी बातें रखी हैं, लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने तय किया है कि इस मामले पर 6 अक्टूबर को ही बहस सुनी जाएगी।
यह जाति आधारित जनगणना मामला बिहार में राजनीतिक दलों के बीच बहस का कारण बन गया है। रिपोर्ट के आंकड़ों को लेकर भाजपा सरकार को घेरने की तैयारी में है। इस बैठक में जाति आधारित जनगणना के मुद्दे पर चर्चा होगी और दलों के नेताओं के बीच बातचीत होगी। यह बैठक बिहार की राजनीति के लिए महत्वपूर्ण है और इसके परिणामस्वरूप राजनीतिक स्थिति में बदलाव हो सकता है।