कश्मीर मुद्दे पर जहां एक तरफ पूरी पाकिस्तान सरकार और वहां की तमाम राजीतिक पार्टियां बौखलाई हुईं हैं तो अब वहां पाक सेना और उसके प्रमुख की बौकलाहाहट भी सामने आई है. भारत सरकार के कश्मीर को लेकर लिए गए फैसले को लेकर पाक सेना में खलबली मची हुई है. इसी खलबली के बीच पाकिस्तान के सेना प्रमुख कमर जावेद बाजवा ने भी इसी मुद्दे पर कॉर्प्स कमांडरों की आपता बैठक बुलाई है.
मंगलवार को कॉर्प्स कमांडरों की बैठक खत्म होने के बाद पाकिस्तानी सेना के प्रवक्ता मेजर जनरल आसिफ गफूर ने ट्वीट किया, “कश्मीर मुद्दे पर भारत की कार्रवाई को खारिज करने के सरकार के फैसले का सेना पूरी तरह से समर्थन करती है. दशकों पहले अनुच्छेद-370 और 35-ए के जरिए जम्मू-कश्मीर के अधिग्रहण को कानूनी बनाने की भारतीय कोशिशों को पाकिस्तान ने कभी मान्यता नहीं दी, अब भारत ने खुद ही इन्हें हटा दिया है.”
उन्होंने सेना प्रमुख कमर बाजवा के हवाले से लिखा, “पाकिस्तानी आर्मी कश्मीरियों के संघर्ष में अंत तक उनके साथ खड़ी रहेगी. हम पूरी तरह से तैयार हैं और इस संबंध में हम अपनी प्रतिबद्धताएं पूरी करने के लिए किसी भी हद तक जा सकते हैं.”
इससे पहले इमरान खान की सरकार के मंत्री फवाद चौधरी ने भी जंग की धमकी दे चुके हैं. उन्होंने कहा, भारत, पाकिस्तान को फिलिस्तीन बनाने की कोशिश कर रहा है. संसद में बेकार के मसलों पर उलझने के बजाय हमें भारत का जवाब खून, आंसू और पसीने से देना होगा. हमें जंग के लिए तैयार रहना होगा.
पाकिस्तान विश्व भर के नेताओं से भारत के खिलाफ समर्थन जुटाने की कोशिश कर रहा है लेकिन नाकामयाब रहा है. सदाबहार दोस्त चीन की तरफ से भी कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है. वहीं, अमेरिका ने सीमा पर सभी पक्षों से शांति बनाए रखने की अपील की.
मोदी सरकार के कश्मीर पर अप्रत्याशित ऐलान के बाद पाकिस्तान के विदेश मंत्रालय ने अपने बयान में कहा था, ‘कश्मीर का मुद्दा एक अंतराष्ट्रीय विवाद है. भारत सरकार कश्मीर पर कोई एकपक्षीय फैसला नहीं कर सकती है. यह फैसला न तो पाकिस्तान को मंजूर है, न ही जम्मू और कश्मीर को लोगों को.’
पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने कहा था कि भारत अगर अनुच्छेद 35-ए से छेड़छाड़ करता है तो कश्मीर की समस्या बढ़ जाएगी. उन्होंने इसे एक खतरनाक खेल की शुरुआत बताया था.
इस भारत के गृहमंत्री अमित शाह ने पाक अधिगृहित कश्मीर को लेकर भी अपनी दावेदारी का इशारा कर दिया है. जिसके बाद से पाकिस्तान में हलचल और भी तेज हो गई हैं. लगातार बैठकों का दौर जारी है.